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नैनीताल: क्यों खतरे में है हरबर्टपुर पालिकाध्यक्ष की कुर्सी?

देहरादून हरबर्टपुर नगरपालिका अध्यक्ष देवेंद्र बिष्ट की पद का दुरुपयोग करने के मामले में मुश्किलें बढ़ सकती हैं।

नैनीताल हाईकोर्ट ने पालिकाध्यक्ष के पद के दुरुपयोग करने के मामले को गंभीरता से लिया है। सचिव शहरी विकास को 6 हफ्ते में अध्यक्ष का पक्ष सुन फैसला लेने के आदेश दिया है। आपको बता दें कि नगर पालिका के सभासद विपुल अग्रवाल ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर आरोप लगाया कि पालिकाध्यक्ष ने पद का दुरुपयोग कर अपनी जमीन पर हाट बाजार का ठेका अपने भाई सतेंद्र बिष्ट को दे दिया है। अपने बेटे की गैर पंजीकृत संस्था रामलीला कमेटी को नियम विरुद्ध तरीके से 51 हजार रुपये दे दिए।

याचिकाकर्ता का कहना है कि पालिकाध्यक्ष के द्वारा पद का दुरुपयोग करने के मामले पर उनके द्वारा गढ़वाल कमिश्नर से शिकायत भी की गई। नवंबर 2019 में एडीएम देहरादून द्वारा की जांच में उन्हें दोषी भी पाया। जिसके बाद 2 अगस्त 2020 को शहरी विकास विभाग ने पालिकाध्यक्ष को नोटिस जारी कर पूछा कि क्यों न आपके खिलाफ नगरपालिका एक्ट के तहत पद से हटाने की कार्रवाई शुरू की जाए? नोटिस मिलने के बाद से पालिकाध्यक्ष जवाब दाखिल करने से बचाव करते रहे।

बीते साल 2 सितंबर को पालिकाध्यक्ष से दस दिन में जवाब मांगते हुए दोबारा नोटिस भेजा गया, मगर कार्रवाई अब तक नहीं हुई। मामले को गंभीरता से लेते हुए नैनीताल हाईकोर्ट के न्यायाधीश मनोज कुमार तिवारी की एकलपीठ ने शहरी विकास सचिव को 6 सप्ताह के भीतर पालिकाध्यक्ष का पक्ष सुनकर निर्णय लेने के निर्देश दिए हैं।

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