करीब 15 दिनों तक चली सियासी खींचतान के बीच महाराष्ट्र में सरकार बनाने का रास्ता साफ हो गया है। आजतक में छपी रिपोर्ट के मुताबिक शिवसेना, एनसीपी और कांग्रेस में समझौता हो गया है।
मुख्यमंत्री पद की मांग को लेकर बीजेपी से अलग होने वाली शिवसेना के खाते में सीएम पद आएगा। शिवसेना के कोटे से सीएम के अलावा 14 मंत्री हो सकते हैं। वहीं एनसीपी और कांग्रेस से एक-एक डिप्टी सीएम हो सकता है। एनसीपी के कोटे से 14 और कांग्रेस के कोटे से 12 मंत्री हो सकते हैं। रिपोर्ट के मुताबिक शिवसेना का सीएम पूरे 5 सालों के लिए होगा।
रिपोर्ट के मुताबिक तीनों पार्टियों के बीच कॉमन मिनिमम प्रोग्राम के तहत सहमति बनी है। इसके साथ ही शिवसेना ने विनयाक दामोदर सावरकर को भारत रत्न दिए जाने की मांग की है तो वहीं कांग्रेस-एनसीपी मुसलमानों को 5 फीसदी आरक्षण देने की मांग कर रही है।
आपको बता दें कि 288 सीटों वाली महाराष्ट्र विधानसभा में सरकार बनाने के लिए 145 विधायकों के समर्थन की जरूरत है। शिवसेना के सबसे ज्यादा 56 विधायक हैं। जबकि एनसीपी के 54 विधायक हैं। वहीं कांग्रेस के 44 विधायक हैं। तीनों को मिलाकर 154 विधायक हो जाते हैं जो बहुमत से 9 ज्यादा हैं। इसके अलावा शिवसेना ने कुछ और विधायकों के उसके साथ होने का दावा किया है।
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