फोटो: सोशल मीडिया
अल्मोड़ा जेल में बंद अनुसूचित जाति जनजाति दशमोत्तर छात्रवृत्ति घोटाले के आरोपी पूर्व समाज कल्याण अधिकारी राजेश सक्सेना की मंगलवार की सुबह संदिग्ध हालत में मौत हो गई।
बताया जा रहा है कि सुबह सेहत बिगड़ने पर जब उन्हें जिला अस्पताल लाया गया तो डाक्टर्स ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। इस मामले में प्रभारी जेलर जिला कारागार अल्मोड़ा मेघराज सिंह का कहना है कि पूर्व में कैदी राजेश कुमार सक्सेना को पांच सितंबर को स्वस्थ खराब होने पर अस्पताल भेजा गया था। उन्हें लो बीपी की शिकायत थी। आज सुबह तबीयत खराब होने पर जेल के डॉक्टरों ने उन्हें जिला अस्पताल भेजा, जहां मौत हो गई।
इस साल 10 जनवरी को उपनिबंधक मोनार्ड यूनिवर्सिटी हापुड़ और कुछ और बिचौलियों के खिलाफ छात्रवृत्ति घोटाले में रिपोर्ट दर्ज हुई थी। 12 जुलाई को राजेश सक्सेना को गिरफ्तार किया गया गया था। आरोप है कि अल्मोड़ा से जारी एससी-एसटी दशमोत्तर छात्रवृत्ति की धनराशि 1423080 रुपये फर्जी दस्तावेज तैयार कर आपराधिक साजिश के तहत गबन किए गए।
मामले की जांच के लिए SIT का गठन किया गया। जांच की जिम्मेदारी SSI बसंती आर्या को सौंपी गई। साइबर सेल की भी मदद ली गई। जांच के दौरान जुलाई महीने में अलीगंज सेक्टर-तीन लखनऊ में दबिश देकर पूर्व जिला समाज कल्याण अधिकारी राजेश कुमार सक्सेना गिरफ्तार कर लिया गया था। कोर्ट के आदेश पर राजेश सक्सेना को जेल भेज दिया गया था।
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