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जिसे दुनिया ढूंढ रही है, वो उत्तराखंड में है..वैज्ञानिकों में खुशी की लहर

भारत समेत पूरी दुनिया में उन जमगादड़ों की चर्चा है, जिन्हें चीन में कोरोना वायरस फैलाने का जिम्मेदार माना जाता है।

दुनिया भर में कोरोना महामारी फैलने के बाद चमगादड़ों को लोग शक की निगाह से देख रहे हैं। इस बीच चीन समेत दुनिया के कुछ देशों में पाया जाना वाला दुर्लभ चमगादड़ ‘लांग टेल्ड विस्कर्ड बैट’ उत्तराखंड के केदारनाथ वाइल्ड लाइफ सेंचुरी इलाके में पाया गया है। इससे पहले 1970 में आखिरी बार दार्जिलिंग में ये चमगादड़ देखा गया था। सोंबर बैट भी चमोली के चोपता में मिला है। आवाज और डीएनए सेंपल मैच के बाद इसकी पुष्टि की गई है।

उत्तराखंड में पर्यावरण के क्षेत्र में काम करने वाली संस्था नेचर साइंस इनिशिएटिव ने अपनी सर्वे में चमगादड़ की ये नई प्रजातियां मिली हैं। इसके अलावा चमगादड़ों की 7 प्रजातियां भी उत्तराखंड में पहली बार पाई गईं। संस्था से जुड़े और चमगादड़ों पर रिसर्च कर रहे रोहित चक्रवर्ती ने बताया कि पिछले कई सालों में हुए शोध के डाटा से मिलान करने के बाद इस ‘लांग टेल्ड विस्कर्ड बैट’ ढूंढा जा सका है। उन्होंने बताया कि इससे पहले इसे चीन और जापान समेत कुछ देशों में पाया गया था। भारत में इसे पहली बार पकड़ा गया। इसके साथ ही उत्तराखंड में चमगादड़ों की कुल प्रजातियां 40 से बढ़कर 49 हो गई हैं।

रोहित के मुताबिक, फील्ड वर्ग के दौरान इनके डीएनए और आवाज के नमूने लिए गए। इसका टाटा इंस्टीट्यूट आफ जेनेटिक्स एंड सोसाइटी और आईआईटी बैंगलौर में अलग-अलग जांच की गई। इसके जांच को नेचुरल हिस्ट्री म्यूजियम जेनेवा स्विट्जरलैंड के रिकॉर्ड से मिलान किया गया। जिनके पास दुनिया के लगभग सभी चमगादड़ों का रिकॉर्ड है। ये सर्वे 600 से 3000 मीटर ऊंचाई के कई इलाकों में किया गया।

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