उत्तराखंड के युवक ने पेश की ईमानदारी की सबसे बड़ी मिसाल, 25 लाख की खोई हुई अंगूठी मिलने के बाद लौटाई
कहते है आधुनिक युग में अब ईमानदारी की बातें सिर्फ किताबी रह गई है, लेकिन उत्तराखंड के राकेश ने ईमानदारी का परिचय देते हुए इस बात को साबित कर दिया कि आधुनिक युग में कहीं न कहीं ईमानदारी जिंदा है।
दरअसल, केदारनाथ के प्रांगण में गौरीकुंड के पास सीतापुर गांव के राकेश सिंह रावत को 25 लाख रुपये मूल्य की हीरे जडि़त एक अंगूठी मिली। लेकिन राकेश ने वो नहीं किया जो आज की तारीख में 70 प्रतिशत से ज्यादा लोग करते हैं यानी अपने पास नहीं रखी बल्कि उसे लौटाने का फैसला किया।
राकेश सिंह ने उस अंगूठी को उसके मालिक तक पहुंचाने की ठान ली और अलवर के राजन शर्मा तक उस अंगूठी को पहुंचा ही दिया। दरअसल, अलवर के रहने वाले राजन शर्मा 14 सितंबर को बाबा केदार के दर्शन करने उत्तराखंड आए थे। लेकिन मंदिर से वापस लौटते समय उनकी उंगली से अंगूठी कहां सरक गई ये उनको भी नहीं पता चला।
जब तक राजन शर्मा को एहसास होता तब तक देक हो चुकी थी। काफी कोशिश के बाद जब अंगूठी नहीं मिली तो राजन शर्मा ने सोनप्रयाग थाने में इसकी शिकायत दर्ज कराई और वापस अलवर लौट गए। लेकिन कुछ समय बाद राकेश सिंह थाने पहुंचे। उन्होंने पुलिस को बताया कि उद्क कुंड के पास उन्हें एक अंगूठी पड़ी मिली।
फिर पुलिस ने भी जांच की तो पता चला ये वही अंगूठी है जिसकी शिकायत राजन शर्मा ने की है। फिर थाना अघ्यक्ष होशियार सिंह पंखोली ने तत्काल राजन शर्मा से मोबाइल पर संपर्क साधा। राजन शर्मा वापस थाना सोनप्रयाग पहुंचे। 16 सितम्बर को पुलिस ने अपने पास रखी अंगूठी उन्हें दिखाई।
बता दें, राजन शर्मा ने अंगूठी को पहचान लिया और बताया कि इसकी बाजार में कीमत लगभग 25 लाख रुपये है। वे राकेश सिंह को इनाम देना चाहते थे। राकेश इसके लिए तैयार नहीं थे। कुछ गणमान्य लोगों के समझाने पर राकेश ने 25 हजार रुपये का इनाम स्वीकार कर लिया।