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लोकसभा से ट्रिपल तलाक बिल पास, सदन में वोटिंग से पहले कांग्रेस और AIADMK ने किया वॉकआउट

केंद्र सरकार का महत्वकांक्षी ट्रिपल तलाक बिल गुरुवार को लोकसभा में पास हो गया। ट्रिपल तलाक बिल के पक्ष में 245 पड़े, जबकि खिलाफ में सिर्फ 11 वोट पड़े।

बिल पर वोटिंग से कांग्रेस और AIADMK ने वॉकआउट किया। कांग्रेस की मांग की थी कि बिल को ज्वॉइंट सेलेक्ट कमेटी के पास भेजा जाए, लेकिन सरकार ऐसा नहीं किया। इसी के विरोध में कांग्रेस के सांसदों ने सदन से वॉकआउट किया। अब इस विधेयक को राज्यसभा में भेजा जाएगा। सरकार की कोशिश है कि 8 जनवरी तक चलने वाले शीतकालीन सत्र में ही इसे उच्च सदन से भी पास करा लिया जाए।

बिल पर चर्चा के दौरान AIMIM के अध्यक्ष असदउद्दीन ओवैसी और कांग्रेस की दो सांसद सुष्मिता देव और रंजीत रंजन ने तीन तलाक देने के दोषी को जेल भेजे जाने के प्रावधान का विरोध किया। इसका जवाब देते हुए कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा, “जब पाकिस्तान, बांग्लादेश समेत 22 इस्लामिक देशों ने ट्रिपल तलाक को गैर-कानूनी करार दिया है तो भारत जैसे धर्मनिरपेक्ष देश में तीन तलाक को अपराध मानने में क्या दिक्कत है? महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए यह बिल जरूरी है।

कांग्रेस नेता सुष्मिता देव ने कहा कि ट्रिपल तलाक पर बैन लगाकर मुस्लिम महिलाओं की समस्याओं को हल नहीं किया जा सकता। उन्हें इससे जीवन यापन करने में मदद नहीं मिलेगी। जबकि पुरुष जेल में है और यह गारंटी नहीं देगा कि वह अपने पति के साथ वापस आ सकती है। कांग्रेस सांसद ने इस बिल को महिलाओं को हक दिलाने वाला नहीं बल्कि पुरुषों को जेल भेजने वाला बताया। उन्होंने कहा सुप्रीम कोर्ट ने अपने 300 पेज के जजमेंट में ये कहीं नहीं लिखा कि तीन तलाक पर कानून बनना चाहिए और इसमें सजा का प्रावधान होना चाहिए। सरकार गलत तरीके से यह विधेयक लाई है और इसके बहाने वोट बैंक की राजनीति की जा रही है।

बीजेपी सांसद मीनाक्षी लेखी ने कहा कि फोन पर मैसेज करके, फोन करके या दूसरे तरीके से तीन बार तलाक कहकर किसी महिला की जिंदगी खराब करने की छूट को खत्म किया जाना चाहिए। कांग्रेस अगर चाहती तो इस बिल को 30 साल पहले पास करा सकती थी, लेकिन उसने बंटवारे की राजनीति को प्राथमिकता दी।

AIMIM के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने भी बिल का विरोध करते हए कहा कि ये सिर्फ मुस्लिम महिलाओं को सड़क पर लाने के लिए है। ओवैसी ने कहा “ये कानून सिर्फ और सिर्फ मुस्लिम महिलाओं को रोड पर ले आएगा। उनको बर्बाद और कमजोर करेगा और जो मुस्लिम मर्द हैं उनको जेल में डालेगा।”

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